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21 प्रकाशवर्ष की दूरी पर मिला धरती जैसा ग्रह

वॉशिंगटन 


वैज्ञानिकों ने संभावित रूप से रहने योग्य पृथ्वी जैसी ग्रह की खोज की है। यह धरती से 21 प्रकाश वर्ष की दूरी पर स्थित है। बताया जा रहा है कि इसकी सतह पर तरल पानी मौजूद है। शोधकर्ताओं ने रेडियल वेलोसिटी टेक्निक का इस्तेमाल करते हुए यह जानकारी हासिल की है।

इस टेक्निक में किसी तारी या ग्रह के अपने गुरुत्वाकर्षण के सामान्य केंद्र के चारों ओर घूमने के दौरान उसकी स्थिति और गति में परिवर्तन को मापा जाता है। कैनरी द्वीप में इन्स्टिटुटो डे एस्ट्रोफिसिका डी कैनारियस (आईएसी) के वैज्ञानिकों ने इस ग्रह की खोज की है। उन्होंने पाया कि इस ग्रह का भार पृथ्वी के भार से दो से तीन गुने के बीच हो सकता है। शोधकर्ताओं ने कहा कि यह हमारे सौर मंडल का सबसे निकटतम छठवां सुपर-अर्थ है। जबकि रेड ड्वार्फ सूर्य के सबसे करीब 100 सितारों में से है। यह ग्रह धरती से अपनी निकटता की वजह से विशेष रूप से दिलचस्प है और यह धरती से केवल 21 प्रकाश वर्ष दूर है। यह ज्ञात बड़ी ‘सुपर-अर्थ’ में से एक है। ब्रह्मांड में रेड ड्वार्फ सबसे आम पाए जाने वाले सितारे हैं, जो ग्रहों की मेजबानी कर सकते हैं। हालांकि, उनमें से केवल कुछ सौ के बारे में ही जानकारी हासिल है।आईएसी के अलेजैंड्रो सुआरेज मस्केर्नो ने कहा कि यह ग्रह अपने तारे का एक चक्कर लगाने में लगभग 14 दिनों का समय लेता है।

Rajesh Pandey

राजेश पांडेय, देहरादून (उत्तराखंड) के डोईवाला नगर पालिका के निवासी है। पत्रकारिता में  26 वर्ष से अधिक का अनुभव हासिल है। लंबे समय तक हिन्दी समाचार पत्रों अमर उजाला, दैनिक जागरण व हिन्दुस्तान में नौकरी की, जिनमें रिपोर्टिंग और एडिटिंग की जिम्मेदारी संभाली। 2016 में हिन्दुस्तान से मुख्य उप संपादक के पद से त्यागपत्र देकर बच्चों के बीच कार्य शुरू किया।   बच्चों के लिए 60 से अधिक कहानियां एवं कविताएं लिखी हैं। दो किताबें जंगल में तक धिनाधिन और जिंदगी का तक धिनाधिन के लेखक हैं। इनके प्रकाशन के लिए सही मंच की तलाश जारी है। बच्चों को कहानियां सुनाने, उनसे बातें करने, कुछ उनको सुनने और कुछ अपनी सुनाना पसंद है। पहाड़ के गांवों की अनकही कहानियां लोगों तक पहुंचाना चाहते हैं।  अपने मित्र मोहित उनियाल के साथ, बच्चों के लिए डुगडुगी नाम से डेढ़ घंटे के निशुल्क स्कूल का संचालन किया। इसमें स्कूल जाने और नहीं जाने वाले बच्चे पढ़ते थे, जो इन दिनों नहीं चल रहा है। उत्तराखंड के बच्चों, खासकर दूरदराज के इलाकों में रहने वाले बच्चों के लिए डुगडुगी नाम से ई पत्रिका का प्रकाशन किया।  बाकी जिंदगी की जी खोलकर जीना चाहते हैं, ताकि बाद में ऐसा न लगे कि मैं तो जीया ही नहीं। शैक्षणिक योग्यता - बी.एससी (पीसीएम), पत्रकारिता स्नातक और एलएलबी, मुख्य कार्य- कन्टेंट राइटिंग, एडिटिंग और रिपोर्टिंग

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